
ऐसे बना कबाड़ी से करोड़पति
हसन अली की जिंदगी किसी फिल्मी कहानी से कम नहीं है। साल 1953 में हैदराबाद में पैदा हुए हसन अली की पढ़ाई-लिखाई भी इसी शहर में हुई। पिता एक्साइज डिपार्टमेंट में कर्मचारी थे और 70 के दशक में परिवार की आर्थिक स्थिति बेहद खस्ताहाल थी। इसके बाद अली ने एक कबाड़ी का काम शुरू किया और कुछ ही सालों में अपना सालाना टर्नओवर 30 लाख तक पहुंचाया। उसके कबाड़ी से करोड़पति बनाने में उसकी दो पत्नियों की अहम् भूमिका थी। पहली थी हैदराबाद की उन्नीसा बेगम और दूसरी पुणे की रेहीमा खान।
उन्नीसा का हैदराबाद के निजाम से दूर का रिश्ता है। इसी का फायदा उठाते हुए हसन अली ने अरबपतियों के बीच उठना-बैठना शुरू किया और कबाड़ के व्यापार में एंटीक का कारोबार शामिल कर लिया। इसके बाद उसकी मुलाकात आर्म्स डीलर अदनान खशोगी से हुई और उसकी सहायता से शुरू हुआ एंटीक के कारोबार के रास्ते हवाला और आर्म्स डीलिंग का धंधा।
दूसरी ने बनाया घोड़े का व्यवसायी
हैदराबाद में कई मामले दर्ज होने के बाद 1999 में हसन अली पुणे आ गया। इसी शहर से उसकी किस्मत बदल गई। यहां उसने घोड़ों की ब्रीडिंग और रेसिंग का धंधा शुरू किया। यहीं उसकी मुलाकात मशहूर हार्स ट्रेनर फैसल की बहन रेहीमा से हुई और दोनों के बीच प्यार हो गया। बाद में उसने अपनी पहली पत्नी उन्नीसा को तलाक दिया और रेहीमा से शादी कर ली। अपने से बाईस साल छोटी रेहीमा से हसन अली को एक बेटा भी है। रेहीमा हसन अली की सबसे बड़ी राजदार मानी जाती है। रेहीमा के भाई की मदद से जल्द ही वह रेसकोर्स में हैदराबाद का घोड़ावाला नाम से मशहूर हो गया। इसके बाद उसने पूरे देश में होने वाली घुड़-दौड़ों में अपने घोड़े भेजने शुरू कर दिए। पुलिस का कहना है कि हसन अली के घोड़े स्विट्जरलैंड और लंदन में होने वाली घुड़दौड़ में भी शामिल हो चुके है। पुणे में हसन अली के कुछ बंगले और फ्लैट्स हैं। इसके अलावा उसका मुंबई के पोद्दार रोड पर भी एक कॉम्प्लेक्स है।
हसन अली की लग्जरी लाइफ
लग्जरी लाइफ जीने वाला हसन अली मुंबई और पुणे में शानदार पार्टियों की मेजबानी के लिए भी जाना जाता था। उसकी पार्टियों में पेज 3 से जुड़े लोग और बॉलीवुड के कई सितारे शामिल होते थे। जेल जाने से पहले हसन अली के पास गाड़ियों का बड़ा काफिला था। इन गाड़ियों की कीमत करोड़ों में थी। हसन अली की जांच कर रही एजेंसियों का कहना है कि हसन अली के नाम से 10 विदेशी बैंकों में खाते हैं।
काली कमाई में नेताओं की हिस्सेदारी
हसन अली पर देश के कई बड़े राजनेताओं के काले धन को ठिकाने लगाने का भी आरोप है। उसने ईडी के अधिकारियों को बताया था कि उसके अकाउंट में जमा करीब 36 हजार करोड़ रुपए में से एक बड़ा हिस्सा देश के कई बड़े नेताओं और नौकरशाहों का है। अली ने ये पैसे स्विस बैंक और दूसरे बैंकों के अकाउंट्स में जमा करवाए थे। इन बड़े नेताओं में महाराष्ट्र के तीन पूर्व मुख्यमंत्री के नाम भी शामिल हैं।