बेंगलुरु/कर्नाटक।। अगर आपको कोई ऐसे शख्स के बारे में बताए जो केवल बाल काटकर अरबपति बन गया है तो आपका चौंकना लाजमी है। लेकिन यह सच है कि बंगलूरू में नाई का काम करने वाले रमेश बाबू केवल इसी की बदौलत आज न केवल शानो-शौकत की जिंदगी गुजर कर रहे हैं, बल्कि उनके पास करीब 67 कारों का काफिला है। इस काफिले में तमाम महंगी कारें भी हैं।
मां लोगों के घरों में खाना पकाकर करती थी बच्चों का पालन
रमेश बाबू जब सात वर्ष के थे तो उस समय उनके पिता का देहांत हो गया था। उनकी मां लोगों के घरों में खाना पकाकर बच्चों का लालन-पालन करती थी।
रमेश के पिता चेन्नास्वामी स्टेडियम के पास नाई की एक दुकान चलाते थे। उनके निधन के बाद रमेश के चाचा ने वह दुकान पांच रुपये मासिक की मामूली रकम पर किराए पर ले ली थी।
पिता के काम में ही आज़माया हाथ
रमेश तीन भाई-बहन थे और मुश्किल के उन दिनों में एक बार ही भोजन करते थे। घर में हाथ बंटाने के मकसद से उन्होंने अखबार और दूध की बोतलें बेचना शुरू किया। इन्हीं सबके बीच रमेश ने किसी तरह दसवीं की पढ़ाई पूरी की लेकिन बारहवीं में फेल हो गए।
उन्होंने तय किया कि वह पिता के काम में ही हाथ आजमाएंगे। एक मीडिया रिपोर्ट के अनुसार उन्होंने 1989 में अपने चाचा से पिता की दुकान वापस लेकर उसे नए सिरे से चलाना शुरू किया।
अपना पुश्तैनी काम नहीं छोड़ा
इस दुकान को उन्होंने आधुनिक स्वरूप दिया और कुछ पैसे कमाकर एक मारुति वैन खरीदी। इस कार को वह किराए पर देने लगे और 2004 में एक ट्रेवल कंपनी की नींव डाली। अपने काफिले में रमेश ने धीरे-धीरे करके रोल्स रॉयस से लेकर नौ मर्सिडीज, छह बीएमडब्लू, एक जगुआर जैसी महंगी कारें शामिल कीं।
उनके क्लाइंट में शाहरुख खान से लेकर अमिताभ बच्चन तक शामिल हैं। इस सबके बीच रमेश ने आज भी अपना पुश्तैनी काम नहीं छोड़ा और वह रोज दो घंटे अपने सैलून पर जाकर ग्राहकों के बाल काटते हैं।