भक्त ने स्वयं के हाथो से बनाई मिट्टी की गणेश प्रतिमाएं, कई गावों में की जाएगी स्थापित
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भक्त ने स्वयं के हाथो से बनाई मिट्टी की गणेश प्रतिमाएं, कई गावों में की जाएगी स्थापित

 बिना किसी फर्मे की सहायता के डूंगलापानी के उभरते कलाकार ने दिखाई अपनी कला
पंद्रह गांवो मे की जाएगी स्थापित
501 गणेश प्रतिमाएं बनाकर वितरण का करने का है सपना
विध्यानिकेतन का पूर्व छात्र करण अभी है कॉलेज छात्र
Karan made Ganesh Ji Statues
  बांसवाडा/राजस्थान।। प्रतिभा किसी की मोहताज नही होती वह चाहे कोई भी प्रतिभा हो, प्रतिभा का ना कोई दायरा है और ना ही कोई क्षेत्र वह हर उस व्यक्ति में समाई हुई है जो कुछ कर गुजरने का माद्दा रखता है। ऐसी ही एक प्रतिभा गरीब जनजाति क्षेत्र बांसवाड़ा के पहाडी इलाके कुशलगढ क्षेत्र मे  देखने में आई है। बता दे की आगामी बुधवार को गणेश चतुर्थी पर देश भर मे दस दिवसीय गणेशोत्सव का श्रीगणेश पुरे देश में भक्तों द्वारा होगा घर-घर, गली-गली, गांव-गांव, ढाणी-ढाणी, शहर-शहर प्रथम पूज्य देवता गणेश जी की प्रतिमा स्थापित की जाकर विभिन्न धार्मिक और सांस्कृतिक का आयोजन किया जाएगा। 
Karan made Ganesh Ji Statues
मिटटी को आकर देकर बना देते है गणेश प्रतिमा
   ऐसे मे जिले के कुशलगढ तहसील की लोहारिया बडा ग्राम पंचायत के डूंगलापानी के करण पिता कोमचंद डामोर प्रतिभा के रूप में सामने आए है। करण देखते ही देखते  बिना किसी सांचे और फर्मे की मदत से सिर्फ अपने हाथो से ही मिटटी को आकर देकर एक पूजनीय गणेश प्रतिमा में तब्दील कर देते है। बता दे कि करण विध्यानिकेतन लोहारिया बडा के पूर्व छात्र है और वर्तमान मे कॉलेज में अध्यनरत है। करण मे बचपन से ही मिट्टी के खिलौने बनाकर खेलने की प्रतिभा परिजनों द्वारा देखी गई थी। 
Karan made Ganesh Ji Statues
बिना किसी फर्मे की सहायता से करते है निर्माण 
  जानकारों का कहना है की कक्षा 10वी से ही विध्यानिकेतन मे अध्ययन के दौरान करण मिट्टी के एक गणेश जी बना कर स्थापित करते आए है। विध्यानिकेतन के पूर्व कार्यकर्ता अभिराज सिंह राठौड ने बताया कि करण पर्यावरण संरक्षण और जल सरंक्षण को लेकर प्रतिवर्ष स्कूल मे गणेश प्रतिमा बिना किसी फर्मे की सहायता से बना कर संदेश देते आए है। वही इस बार करण ने घर डूंगलापानी मे डेढ और दो फिट की कुल 15 गणेश प्रतिमाए खेत और गांव की मिट्टी से बनाई है, जो कि करीब 15 गांवो में अलग-अलग स्थानो पर स्थापित की जाएगी।
हर साल मिट्टी की गणेश प्रतिमाएं बना कर करेंगे वितरण
  करण का कहना है कि इन गणेश प्रतिमाओं में रंग उकेरने का कार्य फ़िलहाल अंतिम सोपान पर है। वही करण की इस प्रतिभा को देखने के लिए गांव-गांव से लोग उनके घर डूंगलापानी आने लगे है। करण ने बताया कि हिन्दू धर्म को बढ़ावा देने के लिए उनकी इच्छा पूरे कुशलगढ क्षेत्र के लिए हर साल मिट्टी की गणेश प्रतिमाएं बना कर वितरण करने की है। 
Karan made Ganesh Ji Statues
गरीब परिवार होने से उनके लिए यह कार्य है कठिन 
   करण ने यह भी बताया कि प्लास्टर ऑफ़ पेरिस से बनी गणेश प्रतिमाओ के विसर्जन के बाद जल प्रदूषण बढ जाता है, जिससे जल मे रहने वाले जीव जंतू अकाल ही मरते है। इसको लेकर उनका बडा सपना है कि इस साल तो 15 प्रतिमाएं तैयार की है, लेकिन आने वाले वर्ष मे वह 501 गणेश प्रतिमाएं बनाकर वितरण का करने सपना संजोए हुए है।   

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